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डॉलर की मजबूती

डॉलर की मजबूती
भारत का विदेशी मुद्रा भंडार सात अक्टूबर 2022 तक 532.87 अरब डॉलर था जो एक साल पहले के 642.45 अरब डॉलर से कहीं कम है। सीतारमण ने कहा कि भारत के विदेशी मुद्रा भंडार में गिरावट की मुख्य वजह अमेरिकी डॉलर की मजबूती के कारण मूल्यांकन में बदलाव आना है। भारतीय रिजर्व बैंक का भी ऐसा ही कहना है।

Why did Finance Minister Nirmala Sitharaman say that the rupee is not sliding- India TV Hindi

लगातार काफी समय की गिरावट के बाद डॉलर के मुकाबले रुपये में नज़र आई मजबूती

Kavita Singh Rathore

राज एक्सप्रेस। आज पूरे विश्व में सिर्फ एक ही मामले की चर्चा है और वह है यूक्रेन और रूस के बीच चल रहा युद्ध। इस युद्ध के चलते सबसे ज्यादा असर शेयर मार्केट पर देखने को मिला है पर इसमें लगातार काफी समय तक भारी गिरावट देखने को मिलती रही और शेयर मार्केट (Share Market) में दर्ज हुई गिरावट का असर भारत के रूपये पर पड़ता रहा है। डॉलर के मुकाबले इसमें अब तक रिकॉर्ड स्तर की गिरावट दर्ज हो चुकी है। हालांकि, आज गुरुवार को डॉलर के मुकाबले रुपये में मजबूती देखने को मिली है।

रुपये में दर्ज हुई मजबूती :

रुपया नहीं फिसल रहा बल्कि डॉलर हो रहा है मजबूत : सीतारमण

वाशिंगटन, 16 अक्टूबर (भाषा) डॉलर की मजबूती वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अमेरिकी डॉलर के मुकाबले इस वर्ष भारतीय मुद्रा रुपये में आई आठ फीसदी की गिरावट को ज्यादा तवज्जो नहीं देते डॉलर की मजबूती हुए कहा है कि कमजोरी रुपये में नहीं आई बल्कि डॉलर में मजबूती आई है।

अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) और विश्व बैंक की सालाना बैठकों में शामिल होने के बाद सीतारमण ने शनिवार को यहां संवाददाताओं से बातचीत में डॉलर की मजबूती भारतीय अर्थव्यवस्था की बुनियाद को मजबूत बताते हुए कहा कि अमेरिकी डॉलर की मजबूती के बावजूद भारतीय रुपया में स्थिरता बनी हुई है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि दुनिया के अन्य हिस्सों की तुलना में भारत में मुद्रास्फीति कम है और मौजूदा स्तर पर उससे निपटा जा सकता है।

क्या कहा वित्त मंत्री Nirmala Sitharaman ने?

रुपये में गिरावट आने से जुड़े एक सवाल के जवाब में वित्त मंत्री ने कहा कि सबसे पहली बात, मैं इसे इस तरह नहीं देखूंगी कि रुपया फिसल रहा है बल्कि मैं यह कहना चाहूंगी कि रुपये में मजबूती आई है। डॉलर लगातार मजबूत हो रहा है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘मजबूत हो रहे डॉलर के सामने अन्य मुद्राओं का प्रदर्शन भी खराब रहा है, लेकिन मेरा ख्याल है कि अन्य उभरते बाजारों की मुद्राओं की तुलना में भारतीय रुपया ने बेहतर प्रदर्शन किया है।’’ शुक्रवार को रुपया डॉलर के मुकाबले 82.35 के भाव पर बंद हुआ था। भारत का विदेशी मुद्रा भंडार सात अक्टूबर 2022 तक 532.87 अरब डॉलर था जो एक साल पहले के 642.45 अरब डॉलर से कहीं कम है। सीतारमण ने कहा कि भारत के विदेशी मुद्रा भंडार में गिरावट की मुख्य वजह अमेरिकी डॉलर की मजबूती के कारण मूल्यांकन में बदलाव आना है। भारतीय रिजर्व बैंक भी इस बात से सहमति रखता है।

पाउंड की तुलना में रुपया कितना हुआ है मजबूत

इस समय 1 पाउंड की कीमत 92.07 रुपये के बराबर है जो दो महीने पहले 5 अगस्त को 95.91 रुपये प्रति पाउंड थी। एक महीने में भारतीय रुपया पाउंड के मुकाबले में 3.84 रुपया मजबूत हुआ है। दो महीना पहले एक यूरो की कीमत 82.17 रुपये हुआ करती थी जो आज गिरकर 80.12 रुपये प्रति यूरो हो गई है।

यूरोप और लगभग पूरी दुनिया में कच्चे तेल की कीमतों में वृद्धि के कारण यूरोप के कई देश महंगाई का सामना कर रहे हैं। खासकर ऊर्जा क्षेत्र में रूस के तरफ से हाल ही में लिए गए नॉर्ड स्ट्रीम पाइपलाइन को पूरी तरह से बंद करने के निर्णय ने स्थिति को और भयावह बना दिया है। इस आदेश के बाद से यूरोप में गैस और तेल जैसे ऊर्जा स्रोतों की लागत में बढ़ोतरी आई है, जो EURO की वैल्यू को कम करने में एक महत्वपूर्ण भुमिका निभा रहे हैं। यूरोपीय संघ की सांख्यिकी एजेंसी द्वारा जारी किए जाने वाले आंकड़ों के अनुसार यूरोज़ोन की मुद्रास्फीति की वार्षिक दर डॉलर की मजबूती जुलाई में बढ़कर 8.9% हो जाएगी, जो जून में 8.6% थी। बता दें, इस समय प्रति यूरो जो डॉलर की कीमत है वो पिछले 20 सालों का सबसे न्यूनतम स्तर है। अगर ये गिरावट जारी रही तो जल्द ही एक यूरो की कीमत डॉलर के बराबर हो जाएगी।

15 जुलाई 2002 को डॉलर के बराबर था यूरो

1 जनवरी 1999 को लॉन्च होने के डॉलर की मजबूती तुरंत बाद यूरोपीय मुद्रा 1.18 डॉलर प्रति यूरो के अपने सर्वकालिक उच्च स्तर पर पहुंच गई थी, लेकिन ज्यादा दिनों तक यह टिक नहीं सकी। फरवरी 2000 में यूरो की कीमत 1 डॉलर से भी कम हो गई और अक्टूबर आते-आते में 82.30 सेंट के रिकॉर्ड निचले स्तर डॉलर की मजबूती पर पहुंच गई थी। फिर धीरे-धीरे स्थिति में सुधार हुआ और 15 जुलाई 2002 को यूरो एक डॉलर के बराबर पहुंच गई। उसके बाद से यूरो में इतनी गिरावट नहीं देखी गई जो आज देखी जा रही है।

यूके की राजनीति से लेकर यूके की अर्थव्यवस्था में इस समय अनिश्चितता का माहौल है। हाल ही में वहां चुनाव हुए हैं। नए पीएम बनाए जाएंगे। कहा जाता है कि बाजार में अगर आप मजबूती चाहते हैं तो अनिश्चितता को दूर करना होगा। इसकी दूसरी और यूरोपीय यूनियन से बाहर निकलना ब्रिटेन को भारी पड़ रहा है। इसका नुकसान ब्रिटेन के व्यापारियों को उठाना पड़ रहा है। उन्हें पहले की तुलना में अधिक टैक्स देना पड़ रहा है। पहले जब ब्रिटेन EU का हिस्सा था तब यूरोपीय यूनियन में शामिल किसी भी देश से व्यापार करने के लिए टैक्स नहीं देना पड़ता था। उससे उसकी अर्थव्यवस्था को काफी फायदा मिलता था जो अब बंद हो गया है। इस समय वहां महंगाई भी चरम पर है। लोगों को रोजगार कम मिल रही है। ये समस्या सिर्फ ब्रिटेन में ही नहीं बल्कि उसके अन्य पड़ोसी देशों में भी है।

Rupee Vs Dollar: रुपया नहीं फिसल रहा बल्कि डॉलर हो रहा है मजबूत: सीतारमण

Alok Kumar

Edited By: Alok Kumar @alocksone
Published on: October 16, 2022 17:22 IST

Nirmala Sitharaman- India TV Hindi

Photo:PTI Nirmala Sitharaman

Highlights

  • शुक्रवार को रुपया डॉलर की मजबूती डॉलर के मुकाबले 82.35 के भाव पर बंद हुआ
  • विदेशी मुद्रा भंडार सात अक्टूबर 2022 तक 532.87 अरब डॉलर था
  • एक साल पहले के 642.45 अरब डॉलर से कहीं कम है

Rupee Vs Dollar: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अमेरिकी डॉलर के मुकाबले इस वर्ष भारतीय मुद्रा रुपये में आई आठ फीसदी की गिरावट को ज्यादा तवज्जो नहीं देते हुए कहा है कि कमजोरी रुपये में नहीं आई बल्कि डॉलर में मजबूती आई है। अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) और विश्व बैंक की सालाना बैठकों में शामिल होने के बाद सीतारमण ने शनिवार को यहां संवाददाताओं से बातचीत में डॉलर की मजबूती भारतीय अर्थव्यवस्था की बुनियाद को मजबूत बताते हुए कहा कि अमेरिकी डॉलर की मजबूती के बावजूद भारतीय रुपया में स्थिरता बनी हुई है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि दुनिया के अन्य हिस्सों की तुलना में भारत में मुद्रास्फीति कम है और मौजूदा स्तर पर उससे निपटा जा सकता है।

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अंतरबैंक विदेशी मु्द्रा विनिमय बाजार में रुपया, डॉलर के मुकाबले 82.71 पर खुला, और फिर बढ़त के साथ 82.62 के स्तर पर आ गया. इस तरह रुपया पिछले बंद भाव के मुकाबले 26 पैसे तेज था. रुपया पिछले कारोबारी सत्र में शुक्रवार को डॉलर के मुकाबले नौ पैसे टूटकर 82.88 पर बंद हुआ था.

सोमवार को दिवाली के मौके पर विदेशी मुद्रा बाजार बंद थे.

इसबीच छह प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले अमेरिकी डॉलर की स्थिति को दर्शाने वाला डॉलर सूचकांक 0.12 प्रतिशत टूटकर 111.85 पर आ गया.

वैश्विक तेल सूचकांक ब्रेंट क्रूड वायदा 0.28 प्रतिशत बढ़कर 93.52 डॉलर प्रति बैरल के भाव पर था.

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